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बुधवार, 11 जुलाई 2018

शिवराज के राज में 1महीने बाद भी नहीं पकड़े गये हिन्दू युवक के हत्यारे, हताश परिजन हिन्दू संघठनो के साथ उतरे सड़को पर

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नागदा- मेडिकल छात्र नीतेश चौहान की हत्या को एक माह बीतने को है, लेकिन अभी तक पुलिस हत्यारों का सुराग नहीं लगा सकी है। जिसको लेकर पुलिस प्रशासन के खिलाफ लोगों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। शुक्रवार देर शाम को यह आक्रोश शहर की सड़कों पर नजर आया।

हिंदु संगठनों के कार्यकर्ताओं ने हत्याकांड के विरोध एवं हत्यारों को शीघ्र गिरफ्तारी की मांग को लेकर स्थानीय लक्कड़दास मंदिर पर बैठक की। बाद में जुलूस के रुप में मंडी पुलिस थाने पहुंचे और मांगों का ज्ञापन मुख्यमंत्री व गृहमंत्री के नाम अपर तहसीलदार जितेंद्र वर्मा को सौंपा गया। इस मौके पर मृतक के परिजन, क्षेत्रवासी एवं हिंदु संगठन के कार्यकर्ता मौजूद थे। भीड़ का नेतृत्व विहिप नेता भेरुलाल टांक कर रहे थे। जिन्होंने नीतेश हत्याकांड मामले में प्रशासन की कार्यवाही पर सवाल उठाते हुए आरोप लगाया कि, राजनीतिक दबाव के चलते नीतेश के गुनाहगारों को अभी तक गिरफ्तार नहीं कर सकी है। टांक ने कहा है, कि पुलिस पहले तो ईद के बाद हत्यारों को पकडऩे का दावा करती रही, कई संदिग्धों को पकड़ा भी गया, लेकिन सख्ती से पूछताछ करने की बजाए मात्र खानापूर्ति कर उन्हें छोड़ दिया गया।


ये हैं मामला
10 जून 2018 की रात करीब 8.30 बजे, 56 ब्लॉक निवासी 21 वर्षीय नीतेश चौहान, किल्कीपुरा चौराहा स्थित डॉ. बाथम क्लिीनिक से काम कर घर के लिए निकला था, लेकिन वही घर नहीं पहुंचा। परिजनों ने नीतेश को रातभर तलाशते रहे। सुबह ७ बजे के लगभग नीतेश का शव ्रबायपास मार्ग पर बोरे में बंद मिला था। नितेश के दोस्त ताहिर ने बताया कि उसका किसी युवती के साथ प्रेम प्रसंग था।

मामले में पुलिस ने अज्ञात आरोपियों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर हत्यारों की तलाश प्रारंभ की। शुरुआती जांच में तो पुलिस को मामला आसान लग रहा था, कि जल्द ही पुलिस आरोपियों को खोज लेगी। लेकिन जैसे-जैसे समय बीतता गया, पुलिस के लिए नीतेश हत्याकांड की गुत्थी सुलझने की बजाए उलझती गई। इस दौरान रतलाम व उज्जैन साइबर सेल की मदद ली गई। वहीं तीन दर्जन से ज्यादा संदिग्धा से पूछताछ की गई। करीब १५ सौ से ज्यादा मोबाइल कॉल की डिटेल खंगाली गई। यहां तक की शहर के सभी प्रमुख चौराहे पर लगे सीसीटीवी फुटेजों को भी खंगाला गया। लेकिन अभी तक की जांच में पुलिस को निराश ही हाथ लगी है। हालांकि अभी भी पुलिस को उम्मीद है, कि जल्द ही वह मामले का खुलासा कर देगी।
परिजनों की शंका के बाद भी नहीं हुई कार्रवाई, पुलिस तलाश रही सुराग
टांक यह भी बताया कि, मृतक के परिजनों द्वारा कुछ लोगों पर हत्या में शामिल होने की शंका जताई गई थी। लेकिन पुलिस द्वारा इन लोगों के साथ सख्ती से पेश आने की बजाए राजनीतिक दबाव के चलते उन्हें छोड़ दिया गया। यहीं कारण है, कि नीतेश की हत्या के करीब एक माह का समय बीतने को है, और पुलिस अभी भी सुराग तलाश रही है।हालांकि ये बात समझ से बाहर हैंं कि भाजपा और आरएसएस के राज वाले मध्यप्रदेश में एक हिन्दू युवक के हत्यारों को बचाने के लिए कौन राजनीतिक दबाब बना रहा हैं?

उच्च स्तरीय जांच की मांग

ज्ञापन में नीतेश हत्याकांड की उच्च स्तरीय जांच की मांग हिंदु संगठनों ने की है, साथ ही चेतावनी दी है, कि अगर जल्द ही आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया गया तो हिंदु समाज सड़कों पर उतरकर प्रशासन के खिलाफ आंदोलन करेगा। ज्ञापन का वाचन शैलेंद्र सोनी ने किया। इस मौके पर मृतक के पिता गोविंद चौहान, पार्षद रेखा मालवीय, जगदीश धाकड़, राजेश पाटीदार, दिलीप पारासिया, मोनू ठक्कर, केशव सिंदला, मोहन प्रजापत, मंगल कछावा, सतीश भारती, बंटी जटिया, सुनील अखंड, हेमंत जटिया आदि मौजूद थे।

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